पापमोचिनी एकादशी | चैत्र कृष्ण एकादशी
( 31 मार्च , 1 अप्रैल 2019 )

तिथि आरम्भ : 31 मार्च सुबह 3:23 पर
तिथि समाप्त : 1 अप्रैल सुबह 6:04 पर
1 अप्रैल को पारण समय : दोपहर 1:39 से शाम 4:07 तक
2 अप्रैल को पारण समय : सुबह 6:14 से 8:38 तक
31 मार्च स्मार्त जन तथा 1 अप्रैल वैष्णव जन व्रत रखेंगे
तिथि समाप्त : 1 अप्रैल सुबह 6:04 पर
1 अप्रैल को पारण समय : दोपहर 1:39 से शाम 4:07 तक
2 अप्रैल को पारण समय : सुबह 6:14 से 8:38 तक
31 मार्च स्मार्त जन तथा 1 अप्रैल वैष्णव जन व्रत रखेंगे
महत्व:
चैत्र माह के कृष्ण पक्ष की एकादशी को पापमोचिनी एकादशी के नाम से भी जानते हैं , इस दिन किये व्रत से समस्त जन्मों के पापों का नाश हो जाता है तथा मोक्ष मार्ग खुलते हैं । इस दिन भगवान विष्णु की पूजा का विशेष विधान है ।
विधि :
इस दिन व्रत धारक को सुबह स्नानादि के बाद विष्णु भगवान् की पूजा करनी चाहिए, घी का दीपक जलाये , तथा जाने अनजाने में हुए पाप के लिए क्षमा भाव ह्रदय में लेकर भगवान् के नाम का जाप करे और "ॐ नमो भगवते वासुदेवाय " मन्त्र का जाप करे तथा विष्णु सहस्त्रनाम का पाठ करे। द्वादशी तिथि पर पड़ने वाले पारण समय में पारण अवश्य करे , हरिवासर में व्रत खोलने से बचे।
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